
देहरादून। उत्तराखंड राज्य में सेना ना सिर्फ बॉर्डर पर रहकर हमारी रक्षा कर रही है बल्कि अपने सामाजिक दायित्वों का निर्वहन भी बखूबी कर रही है। बता दें कि उत्तराखंड राज्य में सेना ने आर्थिक रूप से कमजोर और वंचित वर्ग के बच्चों का भविष्य सुधारने के लिए एक नई पहल की है। राज्य में आर्थिक रूप से पिछड़े एवं कमजोर बच्चों को इंजीनियरिंग और मेडिकल प्रवेश परीक्षा के लिए तैयार किया जाएगा। जिसके लिए उन्हें दून स्थित वार मेमोरियल ब्वॉयज व गर्ल्स हॉस्टल में आवासीय कोचिंग दी जाएगी।सेना की इस पहल से आर्थिक रूप से कमजोर एवं पिछड़े वर्ग के बच्चे आगे बढ़ेंगे तथा उन्हें आगे बढ़ने के लिए प्रोत्साहन भी मिलेगा। सेना के जवानों द्वारा की गई यह नई पहल वाकई बहुत सराहनीय है। सेना में भर्ती जवान कभी भी किसी काम से पीछे नहीं हटते। फिर चाहे आपदा में लोगों की मदद करना हो या पर्यावरण का संरक्षण। सेना के जवान हमेशा आगे रहते हैं।
इसी क्रम में अब उत्तराखंड राज्य के वंचित परिवारों के बच्चों का भविष्य सुधारने के लिए सेना द्वारा नई पहल की गई है। सेना बच्चों को जेईई एवं नीट की तैयारी करवाएगी। सेना द्वारा की गई इस पहल को लेकर गुरुवार 13 अक्टूबर 2022 को गढ़वाल राइफल सीएसआर पार्टनर इंडियन ऑयल कॉरपोरेशन लिमिटेड और ट्रेनिंग पार्टनर नेशनल इंटीग्रिटी एंड एजुकेशनल डेवलपमेंट ऑर्गेनाइजेशन के बीच एक करार होने जा रहा है तथा इस समारोह के दौरान राष्ट्रीय इंडियन मिलिट्री कॉलेज में राज्यपाल लेफ्टिनेंट जनरल गुरमीत सिंह, शिक्षा मंत्री डॉक्टर धनसिंह रावत, व गढ़वाल राइफल्स एंड गढ़वाल स्काउट के कर्नल ऑफ द रेजीमेंट लेफ्टिनेंट जनरल एनएस राजा सुब्रमणि उपस्थित रहेंगे।सेना द्वारा चलाई गई इस नई योजना के अंतर्गत इंजीनियरिंग व मेडिकल प्रवेश परीक्षा की तैयारी के लिए 50-50 बच्चों का प्रवेश कराया जाएगा और सेवारत तथा सेवानिवृत्त सैनिक के बच्चों को यहां पर वरीयता दी जाएगी। यहां पर ना सिर्फ बच्चों को भविष्य के लिए तैयार किया जाएगा बल्कि उनके व्यक्तित्व का विकास भी किया जाएगा।
