पान मसाला, सिगरेट और तंबाकू सहित अन्य उत्पादों पर अधिकतम जीएसटी दर की सीमा तय, 1 अप्रैल से होगा लागू

नई दिल्ली| पान मसाला, सिगरेट और तंबाकू के अन्य उत्पादों पर सरकार ने जीएसटी मुआवजा उपकर की अधिकतम दर की सीमा तय कर ली है| इसके साथ ही सेस के उच्चतम दर को उत्पादों की खुदरा बिक्री मूल्य में भी जोड़ दिया है| यह संशोधन 1 अप्रैल 2023 से लागू हो जाएगा|


इस संशोधन के अनुसार, पान मसाला के लिए जीएसटी मुआवजा का अधिकतम उपकर खुदरा मूल्य का 51 फ़ीसदी होगा| मौजूदा व्यवस्था के तहत उपकर उत्पादन के मूल्य अनुसार 135 फ़ीसदी पर लगता है| तंबाकू पर दर 4 170 रुपये प्रति हजार स्टिक के साथ मूल्यानुसार 290 फ़ीसदी या प्रति इकाई खुदरा मूल्य का 100 फ़ीसदी तय की गई है| अब तक सबसे ऊंची दर 4,170 रुपये प्रति हजार स्टिक किसान 290 फ़ीसदी है| यह उपकर जीएसटी की सबसे ऊंची 28 फ़ीसदी की दर के ऊपर लगाया जाता है|
बताते चले कि जीएसटी मुआवजा उपकर कानून में संशोधन को 1 अधिसूचना के माध्यम से लागू करना होगा| इस नीति से कर चोरी को काफी हद तक रोकने में मदद मिलेगी| यह आर्थिक दृष्टिकोण से एक प्रतिगामी योजना साबित हो सकती है|


बता दें कि फरवरी में वित्त मंत्री की अध्यक्षता वाली जीएसटी परिषद ने पान मसाला और गुटखा व्यवसायों में कर चोरी को रोकने के लिए राज्य के वित्त मंत्रियों की एक पैनल की रिपोर्ट को मंजूरी दी थी|
इसके अलावा बता दें, सरकार ने एक्स-रे मशीन और नॉन-पोर्टेबल एक्स-रे जनरेटर के आयात पर सीमा शुल्क को बढ़ाकर 15 फ़ीसदी कर दिया गया है, जो अप्रैल से लागू हो जाएगा| अभी इस पर 10 फ़ीसदी की दर से आयात शुल्क चुकाना पड़ता है|
यह बदलाव वित्त विधेयक 2023 में संशोधन के तहत किया गया है|