उत्तराखंड राज्य में अब सरकार उन कैदियों को पैरोल देने की नियमावली में संशोधन करने की तैयारी कर रही है जो कि गंभीर सजा पा रहे हैं। बता दें कि सरकार द्वारा गंभीर सजा पाने वाले कैदियों को पैरोल देने की नियमावली में संशोधन किया जाएगा और इस मामले में केंद्र सरकार के निर्देशानुसार पैरोल देने की न्यूनतम अवधि जो कि 4 वर्ष है उसे घटाकर 3 वर्ष करना प्रस्तावित किया गया है। जल्द ही कैबिनेट के समक्ष इससे संबंधित प्रस्ताव रखा जाएगा। बता दें कि पहले से ही प्रदेश में सिद्ध दोष कैदियों को पैरोल देने की नियमावली बनाई गई है इसके तहत सजा पाने वाले कैदियों को तुरंत पैरोल नहीं दिया जाता है उन्हें इंतजार करना पड़ता है और जो भी कैदी सामान्य सजा पाने वाले होते हैं उनके लिए यह अवधि एक साल तक हो सकती हैं मगर गंभीर सजा पाने वाले कैदियों को 4 वर्ष से पहले पैरोल नहीं मिलता। बता दें कि पैरोल व्यवस्था वह व्यवस्था है जिसके तहत कुछ शर्तों के आधार पर कैदियों को उनके परिवार में किसी अपरिहार्य कारण के लिए जेल से कुछ समय के लिए छोड़ा जाता है। कोर्ट द्वारा केंद्र सरकार से कहा गया था कि इस नीति में संशोधन करें और अब शासन द्वारा कैदियों को पैरोल देने की नीति में संशोधन किया जा रहा है।
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