
उत्तराखंड राज्य में ग्लेशियर टूटने से नदियों का बढ़ता जलस्तर लोगों के लिए चिंता का कारण बनता जा रहा है। ग्लेशियरों के टूटने से निचले क्षेत्रों में बाढ़ का खतरा अधिक है, जलाशयों की क्षमता कम होने से विद्युत उत्पादन में भी कमी आएगी तथा नदियों का बढ़ता जलस्तर चिंता का विषय है और इसका मुख्य कारण है ग्लेशियरों का बड़ी मात्रा में टूटना। भारी बारिश तथा ग्लेशियरों के पिघलने से नदियों में पानी की मात्रा बढ़ रही है जिससे निचले इलाकों में गाद और बाढ़ का खतरा भी बढ़ रहा है। भू वैज्ञानिकों द्वारा चेतावनी दी गई है कि यदि ग्लेशियरों की स्थिति में सुधार नहीं होता है तो भविष्य में नदी किनारे बसे निचले क्षेत्रों में बाढ़ का जोखिम और अधिक बढ़ जाएगा।