
आज दिनांक 8 मार्च को अंतर्राष्ट्रीय महिला दिवस के अवसर पर देश की राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू ने सभी को शुभकामनाएं दी और उन्होंने रंगों के पर्व होली की शुभकामनाएं भी लोगों को दी। उन्होंने भारतीय महिलाओं की अजेय भावना पर एक लेख साझा किया जिसमें उन्होंने देश में जमीनी स्तर पर निर्णय लेने वाली संस्थाओं में महिलाओं का अच्छा प्रतिनिधित्व दिखाया है। उनका कहना है कि जैसे-जैसे हम ऊपर की ओर बढ़ते हैं महिलाओं की संख्या धीरे-धीरे कम होती जाती हैं। उन्होंने महिलाओं की सराहना करते हुए कहा कि राष्ट्र निर्माण में अनगिनत महिलाओं ने अपने चुने हुए क्षेत्र में काम करके अपना योगदान दिया है और आगे भी दे रही है। साथ में उन्होंने यह भी कहा कि समाज में व्याप्त मानसिकता को बदलने की आवश्यकता है। एक शांतिपूर्ण और समृद्ध समाज के लिए लैंगिक असमानता पर आधारित पूर्वाग्रहों को समझना और उन्हें तोड़ना आवश्यक है। उनके लेख में यह भी कहा गया है कि हर महिला की कहानी उनकी कहानी है और समाज में महिलाओं की स्थिति पर आधारित है। आगे लेख में उन्होंने कहा कि मेरा चुनाव महिला सशक्तिकरण की एक कहानी का हिस्सा है और भारत की स्वतंत्रता के शताब्दी तक का “अमृत काल” युवतियों का दौर होगा।
