अल्मोड़ा नगर में करोड़ों की लागत से बने मेडिकल कॉलेज की सुविधाएं राम भरोसे चल रही हैं। बता दें कि यह पर्वतीय जिले का पहला मेडिकल कॉलेज हैं और यहां के हालात काफी खराब है। सर्जरी विभाग में ऑपरेशन के नाम पर केवल चीरे और टाके ही लगाए जाते हैं। इसके अलावा पाइल्स और पथरी के ऑपरेशन की व्यवस्था भी फिलहाल मेडिकल कॉलेज में नहीं है इसके लिए लोगों को हल्द्वानी जाना पड़ता है। वर्तमान समय पर मेडिकल कॉलेज की व्यवस्थाओं को लेकर काफी सवाल उठ रहे हैं इस कॉलेज को साल 2022 के जनवरी माह में मान्यता मिली थी और उम्मीद जताई जा रही थी कि अल्मोड़ा समेत अन्य पर्वतीय जिलों के मरीजों को बेहतर इलाज मिलेगा लेकिन फिर भी मेडिकल कॉलेज में उचित स्वास्थ्य सुविधाएं उपलब्ध नहीं हो रही हैं। यहां पर बेहद महत्वपूर्ण सर्जरी विभाग को केवल एक प्रोफेसर चला रहा है।बता दें कि तय मानकों के अनुसार सर्जरी विभाग में 3 एसोसिएट, 4 असिस्टेंट और 5 सीनियर असिस्टेंट प्रोफेसर तैनात होने चाहिए मगर यहां पर सर्जरी विभाग को एचओडी भी नहीं मिल पा रहा है और वहीं दूसरी तरफ कॉलेज की ओटी भी अच्छे से तैयार नहीं हो पाई है। बता दें कि निश्चेतक और ओटी के अन्य उपकरणों की कमी के कारण यहां पर ऑपरेशन नहीं हो पा रहे हैं। इसलिए मरीजों को हल्द्वानी जाना पड़ता है।
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