
उत्तराखंड राज्य में आपदा की दृष्टि से संवेदनशील 4 जिलों में अर्ली वार्निंग सिस्टम लगाए जाने की योजना बनाई गई है। भूस्खलन की दृष्टि से उत्तरकाशी, चमोली, रुद्रप्रयाग और टिहरी अधिक संवेदनशील है इन जिलों में अर्ली वार्निंग सिस्टम लगाने की योजना है। भारतीय वैज्ञानिक सर्वेक्षण राज्य में भूस्खलन को लेकर इन जिलों में अर्ली वार्निंग सिस्टम लगाएगा इसके लिए परीक्षण चल रहा है और परीक्षण की सफलता के बाद इस योजना को लागू किया जाएगा। इससे भूस्खलन को लेकर पूर्वानुमान जारी हो सकेगा और नुकसान को कम करने में भी मदद मिलेगी। जीएसआई देहरादून के निदेशक रवि नेगी द्वारा यह बात कही गई है। सचिव आपदा प्रबंधन एवं पुनर्वास विनोद कुमार सुमन के अनुसार जीएसआई अर्ली वार्निंग सिस्टम को विकसित करने पर काम कर रहा है इसकी मदद से भूस्खलन का पूर्वानुमान लगा सकेंगे और सुरक्षात्मक उपाय भी कर सकते हैं।