उत्तराखंड राज्य में अब चालकों के ड्यूटी से गायब रहने पर रोडवेज प्रबंधन काफी सख्त हो गया है। बस चालकों के ड्यूटी से गायब रहने के खिलाफ प्रबंधन ने कठोर कार्यवाही की है। बता दें कि जो भी चालाक एक और दो जनवरी को अनुपस्थित रहे उनकी सूची तलब कर परिवहन निगम प्रबंधन ने उनके अवकाश पर रोक लगा दी है और अनुपस्थित रहने वाले चालक, परिचालकों की सर्विस ब्रेक लगा दी गई है।
बता दे कि निजी वाहन चालकों की हड़ताल के बीच रोडवेज के महाप्रबंधक दीपक जैन ने निगम के चालकों के लिए आदेश जारी किए हैं जिसमें बीते 22 दिसंबर से 6 माह के लिए एस्मा लागू होने और हड़ताल रोक होने की बात कही गई है और वही पूरे देश में चल रही हड़ताल में रोडवेज के बस चालकों पर चालकों के शामिल होने की भी सूचना मिल रही है इसलिए प्रबंधन ने सख्त कार्यवाही करते हुए 6 माह तक एस्मा लागू कर दिया है। चालकों के गायब रहने के कारण यात्रियों को असुविधा हो रही है साथ में निगम को राजस्व की हानि भी झेलनी पड़ रही है। उन्होंने सभी डिपो के अधिकारियों को निर्देशित किया है कि जो भी चालाक एक और 2 जनवरी को अनुपस्थित रहे उनकी सूची मुख्यालय को उपलब्ध कराई जाए और साथ में यह निर्देश दिए हैं कि निर्धारित रूटों पर बस उपलब्ध न कराने वाले अनुबंधित बस स्वामियों के विरुद्ध नियम और अनुबंध की शर्तों के अनुसार कार्यवाही की जाए और यदि इस मामले में कोई बाहरी व्यक्ति बाधा उत्पन्न करता है तो पुलिस से सहयोग लिया जाए और संचालन जारी रखा जाए।